“विशेष रेल कोच” का लोकार्पण। महात्मा गांधी की रेल यात्राओं को रही समर्पित

राजघाट के समीप गांधी दर्शन में बुधवार को महात्मा गांधी की रेल यात्राओं को समर्पित “विशेष रेल कोच” का लोकार्पण केंद्रीय संस्कृति और पर्यटन मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत ने किया। उन्होंने कहा कि राष्ट्र की एकजुटता के प्रति बापू के दृढ़ विचारों में रेल यात्राओं की भी बड़ी भूमिका रही। यह गांधी के जीवनकाल के समय का ही कोच है, जिसका कायाकल्प गांधी जी के दृष्टिकोण को व्यावहारिक रूप से समझाने के उद्देश्य से किया गया है।
गांधी स्मृति एवं दर्शन समिति द्वारा 'सत्याग्रह दिवस' पर आयोजित कार्यक्रम में शेखावत ने कहा कि आज विश्व जिस परिस्थिति से गुजर रहा है। जिस तरह के जिओ पॉलिटिकल चैलेंज हमारे आगे दिख रहे हैं। रूस और यूक्रेन का युद्ध चल रहा है। इजरायल और गाजा के बीच तनाव है। दुनिया के अनेक देशों में इस तरह का तनाव दिखाई दे रहा है, उस परिस्थिति में गांधी जी का अहिंसा का सिद्धांत एक बार फिर और भी प्रासंगिक हो गया है। आज गांधी जी के दर्शन को अपने जीवन में उतारने की आवश्यकता है।
शेखावत ने कहा कि महात्मा गांधी ने सत्य और अहिंसा का मार्ग अपना कर स्वतंत्रता के संघर्ष को एक नई दिशा दी। गांधी जी के जीवन में स्वच्छता और अहिंसा के बाद में यदि कोई सबसे महत्वपूर्ण विषय था तो वो स्वदेशी का था। गांधी जी ने कहा था कि हमें अपने ग्रामीण कुटीर उद्योग को सशक्त करते हुए ग्राम विकास के मॉडल से डिसेंट्रलाइजेशन ऑफ डेवपलमेंट एक्टिविटीज करें। डिसेंट्रलाइजेशन ऑफ पावर करें। इस दृष्टिकोण से हमें अपनी पंचायतों को सशक्त करना पड़ेगा। हमें अपनी लोक कला, कुटीर उद्योग और मध्यम उद्योग को हमें सपोर्ट करना पड़ेगा।
भारत की सरकार नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में अहिंसा, स्वच्छता और स्वदेशी के उत्थान के लिए भी निरंतर अपने प्रयासों के साथ काम कर रही है। उन्होंने सभी से आग्रह किया कि विशेष रेलवे कोच को देखने जरूर आएं। कार्यक्रम में गांधी स्मृति एवं दर्शन समिति के उपाध्यक्ष विजय गोयल भी उपस्थित रहे।