उत्तर प्रदेश के ललितपुर जिले के तीन बूथों पर हुआ शत-प्रतिशत मतदान
up के ललितपुर जिले में लोकतंत्र की अद्भुत मिसाल देखने को मिली है, जहां तीन बूथों पर शत-प्रतिशत मतदान हुआ है. यह ऐतिहासिक उपलब्धि जिलाधिकारी अक्षय त्रिपाठी के अद्वितीय प्रयासों और समर्पण का परिणाम है. उन्होंने मतदान को महज एक जिम्मेदारी नहीं, बल्कि एक मिशन के रूप में लिया और इसे सफलतापूर्वक अंजाम दिया. जिलाधिकारी अक्षय त्रिपाठी ने वोटिंग के प्रति जागरूकता फैलाने के लिए केवल बैनर-पोस्टर नहीं लगवाए, बल्कि व्यक्तिगत रूप से जिम्मेदारी समझते हुए वोटरों को बूथ तक पहुंचाने में मदद की.जो लोग दूसरे शहरों में रह रहे थे, उन्हें भी विशेष प्रयास कर मतदान के लिए बुलाया गया.
किसी को ऑफिस से छुट्टी दिलाई गई, तो कोई फ्लाइट से अपने गृह नगर पहुंचा. मड़ावरा ब्लॉक के सौलदा, बुदनी नाराहट और बिरघा ब्लॉक के बम्हौरी नागल गांवों में शत-प्रतिशत मतदान हुआ. इन गांवों के एक-एक वोटर को पोलिंग बूथ तक लाने के लिए मतदानकर्मियों ने अनोखा प्रयास किया. उन्होंने बेंगलुरु और दिल्ली में रह रहे वोटरों से संपर्क किया और उन्हें मतदान के लिए बुलाया. सौलदा गांव के 357 मतदाताओं में से एक शेर सिंह बेंगलुरु में रहते हैं. जिलाधिकारी के निर्देश पर, सचिव और बीएलओ ने उनसे संपर्क किया. शेर सिंह फ्लाइट पकड़कर बेंगलुरु से भोपाल पहुंचे और फिर गाड़ी से ललितपुर पहुंचे. इस प्रयास में सचिव, प्रधान और अन्य लोगों ने भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई. इस गांव के ऐसे करीब 26 लोग जो जिले से बाहर रह रहे थे, वे भी 20 मई को मतदान करने के लिये अपने गांव पहुंचे..ललितपुर जिले में निष्पक्ष और शांतिपूर्ण ढंग से शत-प्रतिशत मतदान कराने के लिए लंबे समय से प्रयास किए जा रहे थे। ग्रामीणों को जागरूकता कार्यक्रमों के जरिए मतदान का महत्व बताकर प्रेरित किया गया. इसका नतीजा यह हुआ कि झांसी-ललितपुर सीट पर सबसे अधिक वोटिंग ललितपुर विधानसभा क्षेत्र में ही हुई...हालांकि, पिछले चुनाव की तुलना में यहां तीन फीसदी मतदान कम हुआ, लेकिन तीन गांवों ने शत-प्रतिशत मतदान कर इतिहास रच दिया. जिलाधिकारी अक्षय त्रिपाठी के इस अनूठे और प्रेरणादायक प्रयास की सराहना हो रही है और यह अन्य जिलों के लिए एक मिसाल बन गया है.